
तू मेरी धडकनों की रफ़्तार को भी देख कभी,
साँसों के साथ चलती तेरी याद को तू सोच कभी,
आँखों में जो छिपाया है एक आंसू मैंने,
अपने दिल की निगाह से तू उसे खोज कभी,
मेरे शिकवों को कर के नज़र-अंदाज़ कभी,
मेरे प्यार की गहरायी में उतर तो कभी,
आते-जाते तो हज़ारों पलों में शामिल है तू,
एक पल को मेरी यादो में ठहर तो कभी....
तू मेरी धडकनों की रफ़्तार को भी देख कभी...
nyc one...........
ReplyDeletethank u hai ji :)
ReplyDeleteDeep thought....have you written it by experience or imagination?
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